गौ सेवा सदन सुखचैन सितो गुनो

"निःस्वार्थ सेवा परमो धर्मः"

हमारे बारे में

स्वागत है गौ सेवा सदन सुखचैन सितो गुनो में, एक गैर-लाभकारी संगठन जो सनातन धर्म के सिद्धांतों पर आधारित है और गायों—हमारी पूजनीय गौ माता—की भलाई और संरक्षण के लिए समर्पित है। हमारा संगठन 2012 में स्थापित हुआ था, जब स्थानीय समुदाय ने परित्यक्त गायों की दुर्दशा को देखा और उनके लिए कुछ करने का संकल्प लिया। आज, हमारी दो गौशालाएँ हैं जो 150 से अधिक गायों को आश्रय देती हैं। हमारी समर्पित स्वयंसेवकों की टीम नियमित रूप से गायों की देखभाल करती है, जिसमें उनके स्वास्थ्य की जाँच, भोजन की व्यवस्था और स्वच्छता शामिल है। हमारा उद्देश्य न केवल गायों की रक्षा करना है, बल्कि समुदायों को गायों के दूध, गोबर और मूत्र से होने वाले स्वास्थ्य और पर्यावरणीय लाभों के बारे में जागरूक करना भी है।

हमारा मिशन और दृष्टिकोण

हमारा मिशन गौ माता की अटूट भक्ति के साथ सेवा करना है, जिसमें टिकाऊ देखभाल प्रथाओं, आधुनिक पशु चिकित्सा सहायता और प्राकृतिक उपचार शामिल हैं। हम सड़कों पर छोड़ी गई, बीमार या घायल गायों को बचाने और उन्हें स्वस्थ जीवन प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हमारा दृष्टिकोण एक ऐसी दुनिया बनाना है जहाँ गायों को जीवन का आधार माना जाए और हर व्यक्ति उनकी सेवा में योगदान दे। हम गायों के संरक्षण के साथ-साथ गोबर से जैविक खाद और मूत्र से औषधि बनाने जैसे पर्यावरणीय पहलों को बढ़ावा देना चाहते हैं।

हमारी सेवाएँ

हम गायों की समग्र भलाई के लिए निम्नलिखित सेवाएँ प्रदान करते हैं:

हमारी उपलब्धियाँ

हमने गौ कल्याण में कई मील के पत्थर हासिल किए हैं:

प्रशंसापत्र

"गौ सेवा सदन सुखचैन ने मेरे गाँव की कई गायों को बचाया। अब वे स्वस्थ हैं और हमारा समुदाय भी जागरूक हो रहा है।"

- राम प्रसाद, स्थानीय किसान

"यहाँ की सेवा देखकर मन को शांति मिलती है। मैंने दान किया और अब नियमित स्वयंसेवक हूँ।"

- सुनीता देवी, स्वयंसेवक

"मेरे बच्चे यहाँ गायों की देखभाल सीखते हैं। यह एक बेहतरीन पहल है।"

- अनिल शर्मा, अभिभावक

स्वयंसेवक बनें

हमारे साथ स्वयंसेवक बनकर गौ माता की सेवा में योगदान दें। आप निम्नलिखित तरीकों से मदद कर सकते हैं:

स्वयंसेवक बनें / Volunteer Now

संपर्क करें

हमसे संपर्क करें पूछताछ, स्वयंसेवा, या सहायता के लिए। हमारा कार्यालय सप्ताह में 6 दिन सुबह 9 बजे से शाम 5 बजे तक खुला रहता है।